(हिमांशू बियानी/जिला ब्यूरो)
अनूपपुर (अंंचलधारा) न्यायालय श्रीमान मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट आर.पी. सेवेतिया के न्यायालय के द्वारा थाना कोतवाली अनूपपुर के अपराध क्र. 206/21 के आरोपी होरिल पिता गिरधारी केवट उम्र 35 वर्ष, प्रेमलाल पिता चेतराम केवट उम्र 45 वर्ष दोनों निवासी ग्राम छुलकारी थाना सिटी कोतवाली जिला अनूपपुर को 03-03 वर्ष का सश्रम कारावास एवं 1000-1000 रुपए अर्थदण्ड से दण्डित करने का आदेश पारित किया है। राज्य की ओर से सहायक जिला लोक अभियोजन अधिकारी एवं अभियोजन मीडिया प्रभारी राकेश कुमार पाण्डेय ने पैरवी की है।
न्यायालयीन निर्णय की जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि दिनांक 30/04/2021 को कोतवाली अनूपपुर में पदस्थ प्रधान आरक्षक पवन कुमार को मुखबिर से सूचना प्राप्त होने पर हमराह स्टॉफ सहित मौके पर पहुंचकर आरोपीगण के अधिपत्य से ट्रेक्टर ट्राली में रेत भरी पाए जाने पर और रेत के संबंध में कोई कागज नहीं होने के कारण रेत चोरी का मामला बनने से आरोपी के विरूद्ध कार्यवाही करते हुए कोतवाली में अपराध पंजीबद्ध किया गया था। विवेचना पश्चात मामला विचारण हेतु माननीय न्यायालय में पेश किया गया, माननीय न्यायालय में अभियोजन द्वारा प्रस्तुत किए गए साक्ष्य एवं दस्तावेजों से मामला प्रमाणित पाते हुए उपरोक्त दण्ड से दण्डित करने का न्यायालय ने आदेश पारित किया है। न्यायालय में आरोपीगण ने कम सजा दिए जाने का निवेदन किया था, राज्य की ओर से अभियोजन अधिकारी के द्वारा कठोर और अधिकतम दण्ड देने की मांग की गई जिस पर न्यायालय ने यह टिप्पणी करते हुए कि आरोपीगण ने ऐसा कार्य किया है जिससे जल प्रदूषण जल संरक्षण का नुकसान हुआ है व साथ ही ओरापीगण द्वारा पर्यावरण को भी नुकसान कारित किया गया है, कम सजा दिए जाने से न्याय के उद्देश्य की पूर्ति नहीं होगी और आरोपीगण को 03-03 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई।
अभियोजन अधिकारी राकेश कुमार पाण्डेय ने बताया कि रेत चोरी के मामलों में यह पहली कठोर सजा है, अब तक आरोपीगण जिला दण्डाधिकारी के न्यायालय में जब्त की गई खनिज की मात्रा के हिसाब से रॉयल्टी जमा कर मुक्त हो जाते थे परनतु माननीय उच्च न्यायालय एवं उच्चतम न्यायालय के द्वारा पिछले वर्ष दिए गए निर्देश के अनुक्रम में अब रेत खनिज चोरी के मामलों में खनिज अधिनियम के अतिरिक्त चोरी का मामला भी थानों में पंजीबद्ध होने लगा है, इस प्रकार खनिज चोरी करते पाए जाने पर जिला दण्डाधिकारी के न्यायालय से हुई रॉयल्टी पैनाल्टी के सजा के अतिरिक्त भादवि के तहत चोरी के लिए भी आरोपीगण दण्डित किए जा रहे हैं।
न्यायालयीन निर्णय की जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि दिनांक 30/04/2021 को कोतवाली अनूपपुर में पदस्थ प्रधान आरक्षक पवन कुमार को मुखबिर से सूचना प्राप्त होने पर हमराह स्टॉफ सहित मौके पर पहुंचकर आरोपीगण के अधिपत्य से ट्रेक्टर ट्राली में रेत भरी पाए जाने पर और रेत के संबंध में कोई कागज नहीं होने के कारण रेत चोरी का मामला बनने से आरोपी के विरूद्ध कार्यवाही करते हुए कोतवाली में अपराध पंजीबद्ध किया गया था। विवेचना पश्चात मामला विचारण हेतु माननीय न्यायालय में पेश किया गया, माननीय न्यायालय में अभियोजन द्वारा प्रस्तुत किए गए साक्ष्य एवं दस्तावेजों से मामला प्रमाणित पाते हुए उपरोक्त दण्ड से दण्डित करने का न्यायालय ने आदेश पारित किया है। न्यायालय में आरोपीगण ने कम सजा दिए जाने का निवेदन किया था, राज्य की ओर से अभियोजन अधिकारी के द्वारा कठोर और अधिकतम दण्ड देने की मांग की गई जिस पर न्यायालय ने यह टिप्पणी करते हुए कि आरोपीगण ने ऐसा कार्य किया है जिससे जल प्रदूषण जल संरक्षण का नुकसान हुआ है व साथ ही ओरापीगण द्वारा पर्यावरण को भी नुकसान कारित किया गया है, कम सजा दिए जाने से न्याय के उद्देश्य की पूर्ति नहीं होगी और आरोपीगण को 03-03 वर्ष के कठोर कारावास की सजा सुनाई।
अभियोजन अधिकारी राकेश कुमार पाण्डेय ने बताया कि रेत चोरी के मामलों में यह पहली कठोर सजा है, अब तक आरोपीगण जिला दण्डाधिकारी के न्यायालय में जब्त की गई खनिज की मात्रा के हिसाब से रॉयल्टी जमा कर मुक्त हो जाते थे परनतु माननीय उच्च न्यायालय एवं उच्चतम न्यायालय के द्वारा पिछले वर्ष दिए गए निर्देश के अनुक्रम में अब रेत खनिज चोरी के मामलों में खनिज अधिनियम के अतिरिक्त चोरी का मामला भी थानों में पंजीबद्ध होने लगा है, इस प्रकार खनिज चोरी करते पाए जाने पर जिला दण्डाधिकारी के न्यायालय से हुई रॉयल्टी पैनाल्टी के सजा के अतिरिक्त भादवि के तहत चोरी के लिए भी आरोपीगण दण्डित किए जा रहे हैं।
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