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शहडोल संभाग में सांसद का नकारापन चिंता का विषय बिलासपुर कटनी रूट ट्रेन को मोहताज यात्री हो रहे परेशान

                      (हिमांशू बियानी / जिला ब्यूरो)
जन आंदोलन के लिए अब 
जनता को पटरी पर आना पड़ेगा 
अनूपपुर (अंचलधारा) रेल मंत्रालय दिल्ली से संचालित होता है और उसमें वकालत करने का कार्य संसदीय क्षेत्र के सांसद का होता है। लेकिन धन्य है शहडोल संसदीय क्षेत्र की जनता जिसने सोच से ज्यादा मतों से शहडोल संसदीय क्षेत्र से भारतीय जनता पार्टी की सांसद श्रीमती हिमाद्री सिंह को विजय श्री का खिताब दिलाया इस उम्मीद से के पूर्व केंद्रीय मंत्री स्वर्गीय दलवीर सिंह, पूर्व सांसद स्वर्गीय श्रीमती राजेश नंदनी सिंह के नाम को वर्तमान निर्वाचित सांसद रोशन करेगी उनके बताए मार्गो पर चलेगी। लेकिन अफसोस है के सांसद श्रीमती हिमाद्री सिंह पूरी तरह से जनता की चाहत को नजरअंदाज कर दी। कोरोना काल से पूरे देश में ट्रेनों के पहिए रुक गए थे लेकिन धीरे-धीरे स्पेशल ट्रेनों के नाम पर चलने लगे। लेकिन बड़ा दुख है कि बिलासपुर से कटनी एक महत्वपूर्ण रेल सेक्शन है इसी सेक्शन के अंतर्गत अनूपपुर से चिरमिरी ,अनूपपुर से अंबिकापुर सीआईसी रेल सेक्शन कहलाता है यहां दिन रात 24 घंटे कोयले से भरी गुड्स ट्रेनों का आवागमन करोना काल से आज तक बेहिचक लंबी लंबी रेकों के साथ हो रहा है। इस सेक्शन के यात्री ट्रेन पकड़ने के लिए, बीमारी का इलाज कराने के लिए ,हवाई यात्रा करने के लिए प्राइवेट टैक्सियों का सहारा लेकर बिलासपुर, कटनी, जबलपुर, रायपुर तक 10 हजार रुपए रेंट देकर अपनी यात्रा को अंजाम दे रहे हैं। शहडोल संसदीय क्षेत्र के सांसद ,निर्वाचित जनप्रतिनिधि, बिलासपुर रेल मंडल एवं जोनल कार्यालय में सदस्य बने लोग मौन धारण किए हुए बैठे हुए हैं। ऐसा लगता है इन सब लोगों ने हाथों में चूड़ियां पहन ली है जिसका परिणाम है एक भी यात्री ट्रेन बिलासपुर कटनी रेल सेक्शन को आज दिनांक तक नहीं मिल पाई। मात्र एक ट्रेन 4 सितंबर से छत्तीसगढ़ वालों की मेहरबानी से छत्तीसगढ़ सरकार के रहमों करम से छत्तीसगढ़ इलाके के लिए दुर्ग से अंबिकापुर तक चलना प्रारंभ हुई है। बाकी ट्रेनों का पहिया आज भी जाम पड़ा है । जानकारी मिली है कि क्षेत्रीय सांसद ने किसी तरह का प्रस्ताव किसी तरह की वकालत बिलासपुर जोन में आकर ,बिलासपुर रेल मंडल कार्यालय आकर एवं रेलवे बोर्ड दिल्ली जाकर नहीं की है। मात्र लेटर बनाकर सार्वजनिक कर दिया जाता है और फोटो छपवा कर समाचार पत्रों में वाहवाही लूट ली जाती है। लेकिन हकीकत में इससे कोई लेना-देना नहीं। जिसका परिणाम है की एक भी ट्रेन बिलासपुर से कटनी के मध्य नहीं चल पाई। अब बस का चलना प्रारंभ हो गया लेकिन सांसद पूरी तरह से मौन साधे हुए हैं। अब जरूरत है कि कोई भी दल का राजनैतिक व्यक्ति, प्रेस सब मिलकर रेल पटरी पर इस रूट पर चलने वाली तमाम गुड्स ट्रेनों को जाम करने के लिए पटरी पर उतर आए। हमें सांसद की जरूरत नहीं है, हमें जनप्रतिनिधि की जरूरत नहीं है। हम सब स्वयं सक्षम हैं एक बार जरूरत है रेलवे के खिलाफ जन आंदोलन कि जिससे रेल मंडल ,रेल जोन से लेकर रेल बोर्ड, रेल मंत्री तक हिल जाए । ऐसे आंदोलन के लिए एक माहौल बना कर लोगों को पटरी पर उतरने की जरूरत है तो निश्चित ही इस रूट को सभी रूटों की तरह जरूरत की ट्रेन मिल जाएगी। आज देखा जाए तो कोटा शिक्षा संस्थान का बड़ा केंद्र है लॉकडाउन के चलते लोगों की पढ़ाई ठप हो गई इसके लिए जरूरत है दुर्ग से जयपुर चलने वाली सभी ट्रेनें प्रारंभ की जाए, बिलासपुर से कटनी मेमू, इंदौर बिलासपुर नर्मदा एक्सप्रेस ,अंबिकापुर जबलपुर एक्सप्रेस, दुर्ग भोपाल अमरकंटक एक्सप्रेस ,हरिद्वार पुरी उत्कल एक्सप्रेस, दुर्ग छपरा सारनाथ एक्सप्रेस, गोंदिया बरौनी एक्सप्रेस, अंबिकापुर शहडोल ,चिरमिरी अनूपपुर ,रीवा चिरमिरी, रीवा बिलासपुर जैसी प्रमुख ट्रेनों को तत्काल प्रारंभ किया जाना आवश्यक है। बिलासपुर रेल जोन ,बिलासपुर रेल मंडल से अपेक्षा है कि सांसद का इंतजार ना करें आम जनता की भावना को मद्देनजर रखते हुए तत्काल सभी जरूरत की ट्रेनों को तत्काल प्रारंभ करने की मेहरबानी करें । अन्यथा शहडोल संभाग की जनता अगर पटरी पर उतर गई तो रेलवे नीचे से ऊपर तक मजबूर हो जाएगी और उसको ट्रेन चलाने के लिए बाध्य होना पड़ेगा। ऐसे किसी जन आंदोलन का रेलवे इंतजार न करें और ट्रेनों को तत्काल प्रारंभ करने की घोषणा करें और पटरी पर ट्रेनों को दौड़ा दे। कोरोना महामारी समाप्त होते नजर नहीं आ रही इसका रेलवे इंतजार ना करें। यात्री स्वयं अपनी सुरक्षा गृह मंत्रालय की गाइड लाइन के अनुसार स्वयं करें। जिससे आर्थिक परेशानियों से गुजर रहे यात्रियों को राहत मिल सके। इस ओर रेलवे तत्काल ध्यान दें। आज बीमारी के इलाज के लिए लोगों को बिलासपुर ,रायपुर, नागपुर तक जाना पड़ता है जिसके लिए सड़कों पर टैक्सियों के सहारे 10 से 15 हजार रुपए की राशि खर्च करना पड़ता है। मध्यम वर्ग ,निम्न वर्ग किस कदर व्यवस्था करता है यह ए.सी. में बैठे लोगों को नहीं पता।

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