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विभागीय समीक्षा बैठक में खाद्य मंत्री बिसाहूलाल सिंह ने मुख्यमंत्री को बताया प्रदेश के हर पात्र हितग्राही को राशन

 
(हिमांशू बियानी/जिला ब्यूरो)
अनूपपुर (अंंचलधारा) मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह जी चौहान ने विभागीय समीक्षा बैठकों के क्रम में मंत्रालय में खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग की गतिविधियों की समीक्षा की। बैठक में खाद्य, नागरिक आपूर्ति एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री बिसाहूलाल सिंह एवं विभाग के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे।
                   बैठक में खाद्य मंत्री बिसाहूलाल सिंह ने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को जानकारी देते हुए बताया कि विभाग ने कई महत्‍वपूर्ण उपलब्धियां हासिल की है। कोरोना काल में पात्र परिवारों को राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 के अंतर्गत सम्मिलित हितग्राहियों को प्रधानमंत्री गरीब कल्याण योजना (प्रथम चरण) के तहत अतिरिक्त रूप से 5 किलोग्राम खाद्यान्न प्रति सदस्य प्रतिमाह एवं 1 किलोग्राम दाल प्रति परिवार के मान से माह अप्रेल, 2020 से नवम्बर, 2020 तक कुल 18.65 लाख मेट्रिक टन खाद्यान्न एवं 77,902 मेट्रिक टन दाल का नि:शुल्क वितरण कराया गया। वहीं आत्म निर्भर भारत अभियान अंतर्गत कोविड-19 के कारण माईग्रेंट लेबर की खाद्यान्न सुरक्षा सुनिश्चित करने हेतु श्रमिकों का सर्वेक्षण कराया गया, जिसमें 1.09 लाख परिवारों के 1.96 लाख सदस्यों को माह मई एवं जून, 2020 में 5 किलोग्राम खाद्यान्न प्रति सदस्य एवं 1 किलोग्राम दाल के मान से 1754 मेट्रिक टन गेहूं एवं 157 मेट्रिक टन दाल का नि:शुल्क वितरण किया गया। 
श्री सिंह ने बताया कि राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 आने वाले लगभग 32 लाख ऐसे हितग्राही जिनका सत्यापन स्थानीय निकाय द्वारा किया गया था। किन्तु उनकों पात्रता पर्ची जारी नहीं की जा सकी थी ऐसे गरीब परिवारों को माह अप्रैल, 2020 में 5 किलोग्राम का खाद्यान्न प्रति सदस्य के मान से 13,108 मेट्रिक टन का वितरण कराया गया। कोविड-19 के लॉकडाउन अवधि में बेघर, बेसहारा एवं माईग्रेंट लेबर के भोजन की आवश्यकता की पूर्ति हेतु SDRF मद से कुल 31,292 मेट्रिक टन खाद्यान्न एवं 257 मेट्रिक टन नमक का नि:शुल्क प्रदाय कराया गया। प्रधानमंत्री गरीब कल्‍याण अन्‍न योजना के द्वितीय चरण में माह मई से दिसम्‍बर, 2021 में पात्र परिवारों को 5 किलो प्रतिमाह/सदस्‍य के मान से नि:शुल्‍क वितरण कराया गया, इन परिवारों को माह मार्च, 2022 तक अतिरिक्‍त खाद्यान्‍न का वितरण किया जाएगा। माह अप्रेल, मई, जून, 2021 का नियमि‍त खाद्यान्‍न पात्र परिवारों को एकमुश्‍त नि:शुल्‍क उपलब्‍ध कराया गया।
खाद्य मंत्री श्री सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली का कम्‍प्‍यूटराईजेशन किया गया। प्राथमिकता श्रेणी के छूटे हुए लगभग 50,48,484 नवीन हितग्राहियों का सत्‍यापन कराकर पात्रता पर्ची का वितरण किया गया तथा लगभग 98.26 लाख अपात्र हितग्राहियों को पोर्टल से अस्‍थाई रूप से हटाया गया, जिससे नियमित सत्‍यापित होने वाले हितग्राहियों को जोड़ने की व्‍यवस्‍था बन पाई। राज्‍य सरकार द्वारा ऐसे गरीब, बेघर, बेसहारा हितग्राही जिनके पास पात्रता संबंधित दस्‍तावेज उपलब्‍ध ना होने के कारण रियायती दर के खाद्यान्‍न प्राप्‍त करने से वंचित है उनको घोषणा पत्र के आधार पर अस्‍थाई रूप से ई-राशनकार्ड जारी करने की व्‍यवस्‍था की गई है।ऐसे 4.50 लाख गरीब, बेघर, बेसहारा हितग्राहियों को माह अगस्‍त, 2021 तक 05 किलो ग्राम प्रति सदस्‍य के मान से NFSA अंतर्गत एवं PMGKAY योजना अंतर्गत खाद्यान्‍न का आवंटन जारी किया गया। राष्‍ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 के अंतर्गत अन्‍य वंचित वर्ग, कुष्‍ठरोग पीडित व्‍यक्ति, ट्रांसजेंडर्स/उभयलिंगी व्‍यक्ति, मुख्‍यमंत्री कोविड-19 बाल कल्‍याण योजना में सम्मिलित परिवार को प्राथमिकता श्रेणी अंतर्गत सम्मिलित किया गया है एवं घरेलू कामकाजी महिला के साथ-साथ पुरूष को भी प्राथमिकता परिवार में सम्मिलित किया गया है। यही नहीं मध्यप्रदेश उन 32 राज्यों में सम्मिलित है जिसमें वन नेशन वन राशनकार्ड के तहत राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम, 2013 अंतर्गत सम्मिलित पात्र परिवार किसी भी शासकीय उचित मूल्य दुकान से अपनी पात्रतानुसार राशन प्राप्त कर सकते हैं। अंतर जिला पोर्टेबिलिटी के माध्यम से प्रदेश के लगभग 4 लाख परिवारों द्वारा प्रतिमाह पोर्टेबिलिटी के माध्यम से राशन प्राप्त किया जा रहा है।
श्री सिंह ने बताया कि अप्रेल 2021 से अभी तक राशन प्राप्त करने वाले कुल 68.2 लाख हितग्राहियों के ई-केवायसी भी कराए गए हैं। आधार आधारित राशन वितरण व्‍यवस्‍था अंतर्गत वृद्धजन/नि:शक्‍तजन के बायोमेट्रिक सत्यापन सफल न होने पर लगभग 50 हजार से अधिक परिवारों को प्रतिमाह नामिनी के माध्‍यम से राशन वितरण व्‍यवस्‍था की गई है। नेट कनेक्टिविटी विहीन लगभग 1000 अतिरिक्‍त उचित मूल्‍य दुकानों को नेट कनेक्टिविटी क्षेत्र में लाया जाकर बायोमैट्रिक सत्‍यापन के आधार पर राशन वितरण प्रारम्‍भ किया गया। उन्होंने बताया कि पात्र परिवारों में प्रधानमंत्री गरीब कल्‍याण अन्‍न योजना के प्रति जागरूक करने हेतु दिनांक 07.08.2021 को प्रदेश के समस्‍त 25,000 उचित मूल्‍य दुकानों पर नि:शुल्‍क खाद्यान्‍न मय बैग वितरण का कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसमें माननीय प्रधानमंत्रीजी एवं मुख्‍यमंत्री जी द्वारा हितग्राहियों से परिचर्चा की गई। आयोजन दिवस पर लगभग 11 लाख परिवारों को राशन का वितरण किया गया, जो एक दिवस के वितरण का रिकॉर्ड है। 
उन्होंने बताया कि पात्र हितग्राहियों को राशन सामग्री का वितरण सुनिश्चित करने हेतु प्रत्‍येक माह की 07 तारीख को अन्‍न उत्‍सव का आयोजन किया जा रहा है, जिसमें नोडल अधिकारी एवं जनप्रतिनिधियों की उपस्थिति में पात्र हितग्राहियों को राशन सामग्री का वितरण समारोह पूर्वक वितरण किया जाता है। "मुख्‍यमंत्री राशन आपके ग्राम" योजना अंतर्गत 89 आदिवासी विकासखण्‍डों की उ‍चित मूल्‍य दुकानों से आश्रित ग्रामों में राशन सामग्री का परिवहन कर ग्राम में ही राशन वितरण की व्‍यवस्‍था की जा रही है, जिसमें उसी क्षेत्र के अनुसूचित जनजाति के हितग्राहियों को बैंक के माध्‍यम से ऋण उपलब्‍ध कराकर वाहन उपलब्‍ध कराये जा रहे हैं, जिसमें राज्‍य सरकार द्वारा राशि रूपये 2 से 3 लाख की मार्जिन मनी का भुगतान किया जा रहा है।
वहीं प्रधानमंत्री उज्‍जवला योजना के अंतर्गत प्रथम चरण में 71.51 लाख हितग्राहियों को एवं द्वितीय चरण में 7.36 लाख हितग्राहियों को नि:शुल्‍क गैस कनेक्‍शन उपलब्‍ध  कराये गये हैं। इजी ऑफ डुईंग बिजनेस के तहत पेट्रोल एवं डीजल पम्प मालिकों को पेट्रोलियम उत्पाद के भंडारण एवं विक्रय हेतु लायसेंस की अनिवार्यता राज्य सरकार द्वारा समाप्त की गई है।
खाद्य मंत्री श्री सिंह ने जानकारी देते हुए बताया कि खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में 5.89 लाख किसानों से 37.26 लाख मेट्रिक टन धान का उपार्जन कर राशि रू. 6953 करोड़ का भुगतान किसानों को किया गया है। साथ ही, 42,417 किसानों से 2.24 हजार मेट्रिक टन ज्वार एवं बाजरा का उपार्जन किया गया जिसकी राशि 497 करोड़ का भुगतान किसानों को किया गया। उन्होंने बताया कि खरीफ विपणन वर्ष 2021-22 में अभी तक 2,66,996 किसानों से 18,40,020 मे.टन धान 7,051 किसानों से, 30,210 मे.टन ज्‍वार एवं 3,039 किसानों से 13,601 मे.टन बाजरा का उपार्जन किया जा चुका है। रबी विपणन वर्ष 2021-22 में 17.16 लाख किसानों से 128.16 लाख मे.टन गेहूं का उपार्जन किया गया, जिसकी राशि रू. 25,311 करोड़ का भुगतान किसानों को किया गया। समर्थन मूल्य पर उपार्जित धान की मिलिंग समय-सीमा में कराने एवं धान मिलर्स को मिलिंग के कार्य में होने वाले व्ययों की प्रतिपूर्ति हेतु राज्य मद से प्रोत्साहन राशि रू. 25 से बढ़ाकर रू. 50 से 200 तक प्रति क्विंटल की गई है। खरीफ विपणन वर्ष 2020-21 में समर्थन मूल्‍य पर धान एवं मोटा अनाज उपार्जन में अवैध रूप से परिवहन, भंडारण करने वाले 83 आरोपियों के विरूद्ध 48 प्रथम सूचना रिपोर्ट दर्ज कराई गई एवं 5,203 क्विंटल खाद्यान्‍न एवं 39 वाहन जप्त किए गए।  पहली बार महिला स्‍व-सहायता समूहों, FPO एवं गोदाम संचालकों को भी उपार्जन का कार्य सौंपा गया।

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