(हिमांशू बियानी/जिला ब्यूरो)
अनूपपुर (अंंचलधारा) जिले में समाज सेवा के क्षेत्र में कार्य करने वाली अग्रणी संस्था प्रणाम नर्मदा युवा संघ (प्रनयुसं) एवं इंदिरा गांधी राष्ट्रीय जनजातीय विश्वविद्यालय के समाज कार्य विभाग के संयुक्त तत्वाधान में महावारी स्वच्छता जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन पुष्पराजगढ़ विकासखंड के ग्राम बहपुरी में आयोजित किया गया।
यह कार्यक्रम प्रनयुसं संस्था के निरोग नारी अभियान के अंतर्गत आयोजित किया गया।गौरतलब है कि संस्था द्वारा विगत 2 वर्षों से इस ग्राम में निरोग नारी केंद्र का संचालन किया जा रहा है,जिसमें ग्रामीण आदिवासी महिलाओं को माहवारी स्वच्छता के प्रति जागरूक किया जाता है साथ ही सेनेटरी पैड भी उपलब्ध कराया जाता है। जागरूकता कार्यक्रम मे माहवारी की वैज्ञानिक पद्धति, स्वच्छता के तरीके,सफाई ना रखने से होने वाली बीमारी तथा उनके दुर्गामी परिणामों के बारे में विस्तार से चर्चा किया गया।
यह कार्यक्रम प्रनयुसं संस्था के निरोग नारी अभियान के अंतर्गत आयोजित किया गया।गौरतलब है कि संस्था द्वारा विगत 2 वर्षों से इस ग्राम में निरोग नारी केंद्र का संचालन किया जा रहा है,जिसमें ग्रामीण आदिवासी महिलाओं को माहवारी स्वच्छता के प्रति जागरूक किया जाता है साथ ही सेनेटरी पैड भी उपलब्ध कराया जाता है। जागरूकता कार्यक्रम मे माहवारी की वैज्ञानिक पद्धति, स्वच्छता के तरीके,सफाई ना रखने से होने वाली बीमारी तथा उनके दुर्गामी परिणामों के बारे में विस्तार से चर्चा किया गया।
महिला स्वास्थ्य
की हो प्राथमिकता
की हो प्राथमिकता
कार्यक्रम में विषय विशेषज्ञ के रूप में उपस्थित जनजातीय विश्वविद्यालय के जीव विज्ञान विभाग की प्रोफेसर डॉ.पूनम शर्मा ने कहा कि समाज में महिलाएं हासिये पर रखी जाती हैं,घर में सबसे अंत में भोजन करने वाली महिलाएं होती हैं और सबसे ज्यादा कार्य करने वाली भी महिलाएं होती हैं। ऐसे समय में जबकि महिलाओं को माहवारी के दौर से भी प्रत्येक माह गुजरना पड़ता है,ऐसे में महिलाओं की स्वास्थ्य की प्राथमिकता और अधिक हो बढ़ जाती है।यौन जनित संक्रमित रोग तथा माहवारी स्वच्छता के प्रति हर महिला तथा पुरुष को जागरूक होने की आवश्यकता है।यह कार्यक्रम इन महिलाओं के लिए मील का पत्थर साबित होगा जिससे आगामी दिनों में एक बेहतर समाज का निर्माण हो सकेगा।
माहवारी कोई बीमारी
नहीं खुल कर करें बात
नहीं खुल कर करें बात
कार्यक्रम में विषय विशेषज्ञ के रूप में उपस्थित जनजातीय विश्वविद्यालय के चिकित्सा विभाग के चिकित्सक डॉ. सरस्वती चतुर्वेदी ने अपने उद्बोधन में कहा की माहवारी कोई बीमारी या छुपाने वाला विषय नहीं है इस पर हमें खुलकर बात करने की आवश्यकता है,सामान्यतः पीरियड्स के शुरू होने पर किशोरी बालिकाओं को माताओं द्वारा इस विषय पर किसी से बात ना करने और चुप रहने की सलाह दी जाती है, जिससे कोमल मन में एक डर का भाव पैदा हो जाता है।ऐसे में महिलाओं द्वारा किशोरी बालिकाओं को विषय को सरलता से समझाना चाहिए,डॉक्टर चतुर्वेदी ने अपने उद्बोधन में कहा की माहवारी के दौरान महिलाओं को स्वच्छता का विशेष ध्यान रखना चाहिए ग्रामीण क्षेत्र में कपड़े के उपयोग में रखने वाली सावधानियों तथा उसके फायदे व नुकसान के बारे में विस्तार से जानकारी प्रदान किया गया।
अंधविश्वास को तोड़े
स्वास्थ्य से नाता जोड़ें
स्वास्थ्य से नाता जोड़ें
कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के रूप में उपस्थित जनजातीय विश्वविद्यालय के समाज कार्य विभाग की प्राध्यापक डॉ. कृष्णामणी भागवती ने अपने उद्बोधन में कहा कि हमें समय के अनुसार शिक्षित और जागरूक होना पड़ेगा समाज में व्याप्त अंधविश्वास और कुरीतियों के कारण महिलाओं के स्वास्थ्य से खिलवाड़ नहीं होना चाहिए स्वास्थ्य की प्राथमिकता सर्वश्रेष्ठ होनी चाहिए, हमें माहवारी के दौरान स्वच्छता के हर पहलुओं पर जानने और समझने की आवश्यकता है, धर्म और विज्ञान के बीच उपस्थित एक सूक्ष्म अंतर है जिसे पहचान करने की आवश्यकता है। घर की महिलाओं के साथ ही पुरुषों की भी यह नैतिक जिम्मेदारी है कि माहवारी के दौरान स्वच्छता का विशेष ख्याल रखे।
निरोग नारी हम
सबकी जिम्मेदारी
सबकी जिम्मेदारी
प्रणाम नर्मदा युवा संघ के अध्यक्ष एवं समाज कार्य विभाग के शोधार्थी विकास चंदेल ने अपने उद्बोधन में कहा की एक पुरुष होने के नाते हमें अपनी मां,बहन,पत्नी,बेटी सभी के स्वास्थ्य के प्रति जिम्मेदार होना होगा।माहवारी कोई छिपाने या शर्म करने का विषय नही है,यह एक आवश्यक और सामान्य क्रिया है।यदि किसी महिला को पीरियड से संबंधित कोई भी समस्या होती है तो झाड़ फूंक के चक्कर में ना पड़ें बल्कि तत्काल चिकित्सक से परामर्श लेवें क्योंकि जान है तो जहान है।
विदित हो कि ग्राम बहपुरी पूर्णता नशामुक्त तथा शाकाहारी ग्राम है,यहां पनिका समुदाय के लोग निवास करते हैं,जिनके आदर्श कबीर दास जी ने महिलाओं के विषय में कहा था "नारी निंदा ना करो नारी रतन की खान, नारी से नर होत है ध्रुव प्रह्लाद समान।कार्यक्रम में उपस्थित प्रतिभागी एवं संयोजकगणों ने,निरोग नारी हम सबकी जिम्मेदारी,नारा के साथ कार्यक्रम का समापन किया।मंच संचालन एमएसडब्ल्यू की छात्रा अभिरामी सुरेश तथा जीनी द्वारा किया गया,कार्यक्रम में ग्रामीणों की ओर से फीडबैक देने के लिए स्व सहायता समूह की अध्यक्ष माया मोगरे ने अपनी बात रखी।कार्यक्रम में जनजातीय विश्वविद्यालय के समाज कार्य विभाग के समस्त छात्र तथा बहपुरी ग्राम की महिलाएं तथा किशोरी बलिकाएं उपस्थित रहे।
विदित हो कि ग्राम बहपुरी पूर्णता नशामुक्त तथा शाकाहारी ग्राम है,यहां पनिका समुदाय के लोग निवास करते हैं,जिनके आदर्श कबीर दास जी ने महिलाओं के विषय में कहा था "नारी निंदा ना करो नारी रतन की खान, नारी से नर होत है ध्रुव प्रह्लाद समान।कार्यक्रम में उपस्थित प्रतिभागी एवं संयोजकगणों ने,निरोग नारी हम सबकी जिम्मेदारी,नारा के साथ कार्यक्रम का समापन किया।मंच संचालन एमएसडब्ल्यू की छात्रा अभिरामी सुरेश तथा जीनी द्वारा किया गया,कार्यक्रम में ग्रामीणों की ओर से फीडबैक देने के लिए स्व सहायता समूह की अध्यक्ष माया मोगरे ने अपनी बात रखी।कार्यक्रम में जनजातीय विश्वविद्यालय के समाज कार्य विभाग के समस्त छात्र तथा बहपुरी ग्राम की महिलाएं तथा किशोरी बलिकाएं उपस्थित रहे।
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